16 साल की लड़की ने दुनिया को झकझोरा, ओबामा बोले-तुम मेरी टीम की सदस्य हो
स्वीडन की ग्रेटा थुनबर्ग (Greta Thunberg) मात्र 16 वर्ष की हैं पर उनकी उपलब्धियां पहाड़भर की हैं। इससे भी बड़ा है उनका दृढ़ निश्चय-पर्यावरण संरक्षण के लिए लड़ने और जूझने का। संयुक्त राष्ट्र संघ समेत दुनिया के विभिन्न मंचों पर अपनी आवाज बुलंद करने के बाद बुधवार को थुनबर्ग ने जब यूएस कांग्रेस (US Congress) में पर्यावरण प्रदूषण के लिए अमेरिका को घेरा तो सब उन्हें देखते रह गए। इससे पहले वाशिंगटन दौरे के दौरान जब अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा इस किशोरी से मिले तो इतने प्रभावित हुए कि यह कहने से नहीं रह पाए “तुम मेरी टीम की सदस्य हो”।
Greta Thunberg and Obama fist bump during meeting pic.twitter.com/yd03OmoTLy
— The Independent (@Independent) September 18, 2019
दुनिया के 100 प्रभावशाली लोगों में शामिल
ग्रेटा थुनबर्ग ने यूएस कांग्रेस में कहा कि ‘मैं नहीं चाहती कि आप मुझे सुनें, बल्कि मैं चाहती हूं कि आप वैज्ञानिकों की सुनें। …मैं चाहती हूं आप पर्यावरण को बचाने के लिए ठोस काम करें।” स्वीडन की मूल निवासी थुनबर्ग इन दिनों एक हफ्ते के लिए अमेरिका के दौरे पर हैं। थुनबर्ग 23 सितंबर को पर्यावरण चिंताओं पर होने वाले संयुक्त राष्ट्र शिखर सम्मेलन को संबोधित करेंगी। थुनबर्ग की इस शख्सियत को देखते हुए ही टाइम मैगजीन की ओर से उन्हें 2019 के दुनिया के 100 प्रभावशाली लोगों की सूची में शामिल किया जा चुका है।
मुहिम से लाखों लोग जुड़े
थुनबर्ग अगस्त 2018 में अपना स्कूल छोड़कर स्वीडन की संसद के बाहर प्रदर्शन में शामिल होने पहुंच गई थीं। इनकी सिर्फ एक ही मांग थी पर्यावरण में हो रहे प्रतिकूल बदलाव को रोकने के लिए सख्त कदम उठाए जाएं। इसके बाद से तो इनके देश समेत दुनिया के कई देशों में फ्राइडेज फॉर फ्यूचर (Fridays For Future) नाम से पर्यावरण संरक्षण के लिए आंदोलन चल गया। इसके तहत हर शुक्रवार को अलग-अलग जगहों पर लाखों लोग प्रदर्शन करते हैं।
घर से शुरुआत
थुनबर्ग की पर्यावरण बचाने की मुहिम का असर उनके घर से ही दिखता है। कार्बनडाइऑक्साइड का उत्सर्जन रोकने के लिए इनके अभिभावकों को अपने लाइफस्टाइल में कई बदलाव करने पड़े। यहां तक कि उन्होंने हवाई यात्रा और मीट खाना भी छोड़ दिया। थुनबर्ग ने एक टीवी शो के इंटरव्यू में बताया कि कुछ दिन पहले जब वह स्वीडन से पानी के जहाज में अमेरिका आ रही थीं तो इस दौरान भी उन्होंने जहाज पर सवार लोगों से समुद्र में कचरा न फैलाने की अपील की थी। थुनबर्ग को जून, 2019 में एमनेस्टी इंटरनेशनल अवार्ड भी मिल चुका है। मार्च 2019 में उन्हें नोबेल पीस पुरस्कार के लिए नामांकित किया गया था। ट्विटर अकाउंट पर उनसे 14 फॉलोअर्स जुड़े हुए हैं।
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